आंत्र ज्वार TYPHOID

आंत्र ज्वार 

TYPHOID 

टाइफॉइड एक किस्म का जीवाणु संक्रमण है जो आहार और पानी के माध्यम से इंसान को अपना शिकार बनता है। टाइफॉइड गंभीर संक्रमण है जो हमेशा उच्च बुखार , थकान और आंतरिक अस्तित्व की स्तिथी में  उत्पन्न होता है। टाइफॉइड वायरस या बक्टेरिया  के स्रोते से होता है। समय रहते टाइफॉइड का इलाज न किया जाय तो गंभीर समस्या में तब्दील हो सकती है। 

टाइफॉइड के लक्षण हमेशा  अचानक सामने आते है। ज्यादा बुखार ,उत्थाग ,पेट में दर्द और कुछ खाने की इच्छा ना होना जैसी समस्या टाइफॉइड के  सामांन्य लक्षणों के रूप में  जहीर होती है। इन लक्षणों को जानबूझकर नजरअंदाज करना काफी धोकादायक हो सकता है। साथ ही इस समस्या का समय रहते इलाज न किया गया तो इसके परिणाम गंभीर हो सकते है। 

आंत्र ज्वार के लक्षण

SYMPTOMS OF TYPHOID 

टाइफॉइड या किसी और बीमारी के लक्षण स्वास्थ की परिस्तिथी को प्रभावित कर सकती है साथ ही समस्या को गंभीर बना सकती है। 

1)उच्च  बुखार {ज्वार} :- उच्च बुखार टाइफॉइड का सबसे प्रमुख लक्षण  है।  जिस में बुखार १०० डिग्री फोरेनहाइड से भी ज्यादा होता है साथ ही ये बुखार बढ़ता नजर आता है। 

2) थकान (मांदी) :- इस लक्षण में मरीज अधिक से अधिक थकान महसूस करता है।  साथ ही उसे नींद भी आती है। 

3) व्याकुलता या उत्थाग :- मरीज में चिंता ,अशांति , थकान और उत्थाग की आवस्था होती है। 

4) खाने की इच्छा की कमी :- इस लक्षण में मरीज की भूक कम हो सकती है।  साथ ही खाने की इच्छा भी नहीं होती। 

5) दस्त और पेट में दर्द :- टाइफॉइड में पेट में दर्द और दस्त की समस्या हो सकती है।  जिस समस्या से मरीज असहनीय और अस्वस्थ महसूस करता है।   

6) चेहरे का रंग पीला पड़ना :- टाइफॉइड के मरीज का चेहरा अक्सर पीला या खिचवीत पड़ सकता है। 

यदि हम में से कोई भी इन लक्षण का सामना कर रहा है। तो बिलकुल भी देर न करे फ़ौरन चिकित्सक से सलाह ले टाइफॉइड एक खत्तरनाक समस्या है जिसका समय रहते इलाज न हो तो इस से जान का खतरा बन सकता है।

आंत्र ज्वार के इलाज के बारे में जानकारी 

INFORMATION OF  TYPHOID TREATMENT 

टाइफॉइड एक बैक्टेरियल संक्ण है जिसका सही समय पर इलाज और स्वास्थ को सुरक्षित बनाने के जरुरत होती है।  

1) दवाई :- टाइफॉइड  के इलाज के लिए डॉक्टर हमेशा एंटीबायोटिक का सहारा लेते है। डॉक्टर मरीज के सिस्टम और स्वाभाविक बैक्टेरियल सस्पेक्ट के आधार पर एंटीबायोटिक का चयन करते है। जो मरीज को जल्द से जल्द ठीक करने में मदद करते है। कभी भी डॉक्टर की सलाह के खिलाफ दवाइयों का चयन न करे न ही कोई एंटीबायोटिक का सेवन करे   

2) आदर्श आहार :- टाइफॉइड के मरीज को आराम और पर्याप्त मात्रा में आहार की जरुरत होती है               मरीज के खान पान में हलके और आसान खाद्य  पदार्थो का समावेश करे जो पचने में सहज और ऊर्जा से भरपूर हो।  साथ ही पोषण से भरपूर आहार जैसे दलिया , चावल , मुंग की दाल , रोटी ,खीर ,दही और सब्जी को शामिल करना चाहिए। 

3) हाइड्रेशन :- टाइफॉइड के इलाज के दौरान शरीर को हाइड्रेशन से बचाय रखना बेहद महत्वपूर्ण होता है। इसी लिए  हमेशा  जरूरी मात्रा में पानी पिए और खुद को हाइड्रेशन से बचाय। 

4) पूर्ण आराम :- टाइफॉइड  की समस्या में शरीर को पूर्ण राहत और आराम देना आवश्यक है। इसी लिए अच्छी नींद और स्वस्थ आहार शरीर को उचित ऊर्जा और आराम प्रदान करता है। जिस से शरीर को सही आराम प्राप्त हो सके और बीमारियों का सामना करने में मदद मिले।  

5) हाइजीन:-  टाइफॉइड की बीमारी में मरीज को अपनी व्यक्तिगत स्वछता और साफ़ सफाई का ध्यान रखना जरूरी है। नियमित साबुन से हात धोते रहना चाहिए और किसी भी प्रकार के संक्रमण के संपर्क में आने से बचे। 

6) चिकित्सक उपचार :- टाइफॉइड  के मरीज को अपने चिकित्सक की सलाह से टिका और उपचार प्राप्त करना चाहिए। चिकित्सक के सलाह के बिना कोई दवा न ले और उनकी हर सलाह का पालन करे। 

टाइफॉइड का इलाज वक्त पर करना जरूरी है।  ताकि इसे गंभीर समस्या में बदलने से रोक सके 

नोट :- इस ब्लॉग पोस्ट में दी गई जानकारी केवल सूचनात्मक और शिक्षात्मक जानकारी प्रदान करने के उदेश्य के लिए है। ये आपके व्यक्तिगत चिकित्सा परामर्श की जगह नहीं ले सकती। टाइफॉइड जैसे गंभीर रोगो के लिए हमेशा डॉक्टर की सलाह ले 

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